रीवा। शासकीय ठाकुर रणमत सिंह महाविद्यालय रीवा के समाज कार्य विभाग में प्राचार्य डॉ अर्पिता अवस्थी के निर्देशन पर पांच दिवसीय असाइनमेंट प्रस्तुतीकरण सेमिनार के समापन दिवस पर अंतर्राष्ट्रीय मानवाधिकार दिवस पर सेमिनार का आयोजन हुआ। सेमिनार का संयोजन प्रोफेसर अखिलेश शुक्ल के द्वारा किया गया। प्रभारी प्राचार्य एवं समाजशास्त्र के प्राध्यापक डॉ महेश शुक्ल ने अपने उद्बोधन में कहा कि अंतरराष्ट्रीय मानवाधिकार दिवस 2021 की थीम असमानताओं को कम करना और मानव अधिकारों को आगे बढ़ाना है। उन्होंने कहा कि मानव अधिकार मनुष्य की मूलभूत सार्वभौमिक अधिकार हैं जिसे किसी भी आधार पर किसी भी मनुष्य को वंचित नहीं किया जा सकता है। सभी व्यक्तियों को गरिमा और अधिकार एवं समानता जन्मजात प्राप्त होते हैं।
मुख्य वक्ता राजनीति विज्ञान के प्राध्यापक प्रोफेसर एसपी शुक्ल ने अपने उद्बोधन में मानव अधिकार की अवधारणा भारतीय संविधान के परिप्रेक्ष्य में छात्रों को समझाइ। उन्होंने बताया कि मानव अधिकारों को पहचान देने और वजूद को अस्तित्व में लाने के लिए और अधिकारों के लिए जारी हर लड़ाई को ताकत देने के लिए हर साल 10 दिसंबर को अंतरराष्ट्रीय मानवाधिकार दिवस यानी यूनिवर्सल ह्यूमन राइट्स डे मनाया जाता है। पूरी दुनिया में मानवता के खिलाफ हो रहे अत्याचारों को रोकने और उसके खिलाफ संघर्ष को नई ऊंचाई देने में इस दिवस की महत्वपूर्ण भूमिका है। हमारे देश में 28 सितंबर 1993 से मानव अधिकार कानून अमल में आया और 12 अक्टूबर 1993 में सरकार ने राष्ट्रीय मानव अधिकार आयोग का गठन किया। आयोग के कार्यक्षेत्र में नागरिक और राजनीतिक के साथ आर्थिक, सामाजिक और सांस्कृतिक अधिकार भी आते हैं।
सेमिनार के संयोजक प्रोफेसर अखिलेश शुक्ल ने छात्रों को संबोधित करते हुए कहा कि वास्तव में प्रत्येक व्यक्ति को ऐसे जीवन स्तर को प्राप्त करने का अधिकार है जो उसे और उसके परिवार के स्वास्थ्य, कल्याण और विकास के लिए आवश्यक है। मानव अधिकारों में आर्थिक, सामाजिक एवं सांस्कृतिक अधिकारों के समक्ष समानता का अधिकार एवं शिक्षा का अधिकार आदि नागरिक और राजनीतिक अधिकार भी सम्मिलित हैं। सेमिनार का संचालन डॉ गुंजन सिंह एवं डॉ शिव बिहारी कुशवाहा के द्वारा किया गया तथा आभार प्रदर्शन प्रो प्रियंका तिवारी के द्वारा किया गया।
सेमिनार में .एमएसडब्ल्यू प्रथम सेमेस्टर के छात्र रश्मि मिश्रा, रश्मि तिवारी रीषब मिश्रा रितिक पांडे, रूचि अग्निहोत्री रूचि सिंह साक्षी शुक्ला शुभम सिंह शंखधर द्विवेदी संध्या द्विवेदी श्वेता द्विवेदी स्मिता सिंह दीपाकंर शुभांगी तिवारी सुधांशु पांडे विकास कुमार शुक्ला स्वाती सिंह विमला कोल शिवांगी त्रिपाठी रिंकी गुप्ता आशुोष सिंह दीप्ती पांडे आदि ने अपना प्रस्तुतीकरण किया। समापन दिवस के अतिंम सत्र में प्रश्न उत्तर किये गए और उनका समाधान किया गया।
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