These 65 words were changed in MP, now it will read: भारतीय दंड संहिता और दंड प्रक्रिया संहिता में उर्दू और फारसी के शब्दों की जगह हिन्दी शब्दों ने ले ली है। लेकिन यह शब्द पुलिस अधिकारियों से लेकर जवानों के लिए मुसीबत बन गए हैं। आजादी के पहले से जिन शब्दों का पुलिस प्रयोग कर रही थी, वे बदले तो जुबान अटक रही है। कई थानों में तो अब भी यह आलम है कि पुराने ही शब्दों का प्रयोग किया जा रहा है। रोजनामचा हो या फिर एफआईआर या फिर किसी डायरी का विवरण, अधिकारी जैसे ही कम्प्यूटर पर बैठकर टाइपिंग शुरू करते हैं, तो उनके जहन में सालों से घूम रहे वही उर्दू और फारसी शब्द आ जाते हैं। जिसके बाद चंद पलों के लिए अंगुलियां भी साथ नहीं देती और उन्हें उसे डिलीट कर हिन्दी शब्द याद करना और लिखना पड़ता है।
यह है पूरा मामला : पुलिस मुख्यालय की अपराध अनुसंधान शाखा ने पिछले दिनों एक आदेश जारी किया। इसके तहत भारतीय दण्ड संहिता से उर्दू और फारसी के 65 शब्दों को हटाया गया और उनकी जगह हिन्दी शब्दों के उपयोग के निर्देश दिए गए। आदेश के साथ उर्दू और फारसी के शब्दों के स्थान पर प्रयोग किए जाने वाले हिन्दी शब्दों की जानकारी भी जिलों की पुलिस को दी गई थी। इन्हें तत्काल प्रभाव से लागू करने की बात भी कही गई थी।
यह 65 शब्द बदले गए
प्रचलित शब्द हिन्दी शब्द
ताजिरात हिंद भारतीय दंड संहिता
जाफ्ता फौजदारी दंड प्रक्रिया संहिता
कत्ल हत्या
अदालत न्यायालय
इस्तेगासा दावा या परिवाद
फरियादी आवेदक
गिरफ्तार या हिरासत अभिरक्षा
अदम चेक-हस्तक्षेप अयोग्य, असंज्ञेय
कैदखाना बंदीगृह
जुर्म, दफा अपराध, धारा
हाजिर, गैर हाजिर उपस्थित, अनुपस्थित
तफ्तीश, तहकीकात अनुसंधान, जांच, विवेचना
आमद, रवानगी आगमन, प्रस्थान
इजाफा बढ़ोतरी या वृद्धि करना
कैफियत, मजमून विवरण
तहरीर लिखित सूचना
इत्तिला सूचना
इमदाद सहायता
तामील, अमद तामील सूचित, सूचित न होना
मियाद समय सीमा
इरादतन साशय
कब्जा आधिपत्य
खारिजी निरस्त
खून आलूदा रक्त रंजित
खैरियत कुशलता
गवाहान साक्षी
गुजारिश प्रार्थना
चश्मदीद प्रत्यक्षदर्शी
मुख्यालय द्वारा जारी आदेश के बाद थानों और कार्यालयों में काम करने वाले सभी अधिकारियों और जवानों को हिन्दी शब्दों का उपयोग करने के निर्देश दिए गए हैं। कई ऐसे शब्द हैं जिनका अर्थ आमजन सरलता से नहीं समझ पाते हैं, बदलाव से उन्हें समझने में आसानी होगी।
अनिल सोनकर, एएसपी रीवा