रीवा। जब तक प्रत्याशियों की घोषणा नहीं हुई थी तब तक सभी दलों में संगठनात्मक एकता दिखी लेकिन जैसे ही प्रत्याशियों के नामों की घोषणा हुई,भाजपा-कांग्रेस दोनों दलों में रार मची हुई है। भाजपा में तो प्रत्याशी घोषणा के बाद मऊगंज के कार्यकर्ताओं ने प्रत्याशी बदलने की मांग की, यहां तक कि भोपाल तक पहुंच गए थे। लेकिन कांग्रेस में प्रत्याशी की घोषणा के पहले से ही रार मच गई थी। विधानसभा क्षेत्र त्योंथर से टिकट न मिलने की आहट मात्र से कांग्रेस से लोकसभा प्रत्याशी रहे सिद्धार्थ तिवारी राज कोप भवन में चले गए। उनके कोप भवन में जाते ही रीवा नगरनिगम के एक एमआईसी सदस्य ने इस्तीफा दे दिया। साथ कुछ जनपद सदस्यों व एनएसयूआई के कार्यकर्ता व पदाधिकारियों के भी इस्तीफे की चर्चा सुनने में आई। इसी बीच सिद्धार्थ तिवारी के भाजपा मेंं जाने की अटकलें लगने लगी। फिर यह चर्चा जोर पकड़ी कि कांग्रेस उन्हें मनाने में सफल हो गई और त्योंथर से टिकट देने के लिए राजी हो गई। लेकिन रविवार 15 अक्टूबर को कांग्रेस ने 144 प्रत्याशियों की अपनी पहली सूची जारी कर दी। जिसमें त्योंथर से सिद्धार्थ तिवारी के बजाय पूर्व प्रत्याशी रमाशंकर सिंह पटेल को फिर टिकट दे दी गई। टिकट घोषणा के बाद सोशल मीडिया में सिद्धार्थ तिवारी के भाजपा में शामिल होने की चर्चा फिर जोर पकड़ी। सोशल मीडिया में ही कुछ लोगों ने त्योंथर से भाजपा की टिकट भी भाजपा से दे डाली। हालांकि उड़ती खबरों की सत्यता के सिद्धार्थ तिवारी से संपर्क साधने की कोशिश की गई लेकिन नहीं हो पाया। हांलाकि उनके करीबियों से बात हुई तो उन्होंने कहा कि अभी कुछ कह नहीं सकते। यानी अभी तक तय नहीं कि सिद्धार्थ तिवारी भाजपा में जायेंगे या कांग्रेस में ही रहेंगे। हालांकि कुछ सूत्रों का कहना है कि वह भाजपा में जा रहे हैं, कब जा रहे हैं , स्पष्ट नहीं। स्थानीय भाजपा संगठन को इस संबंध में कुछ पता ही नहीं। त्योंथर के बाद गुढ़ विधानसभा क्षेत्र में हलचल नजर आ रही है। गुढ़ विधानसभा क्षेत्र से नया प्रत्याशी कुंवर कपिध्वज सिंह को मैदान में कांग्रेस ने उतारा। यहां से पूर्व विधायक राजेंद्र मिश्रा, प्रदेश महामंत्री बृजभूषण शुक्ल के साथ ही कई कांग्रेसी दावेदार थे। टिकट न मिलने का रंज होना स्वाभाविक है। सोमवार सुबह वृजभूषण शुक्ल का एक पत्र वायरल हुआ। जिसमें उन्होंने सीधी संगठन प्रभारी के पद से इस्तीफा देने की बात लिखी है। पत्र में इस्तीफा देने का कोई कारण भी नहीं लिखा है। इस संबंध में उनसे दूरभाष पर संपर्क करने की कोशिश की गई तो उनका नंबर बंद आया। इससे माना जा रहा है कि टिकट को लेकर नाराजगी हो सकती है।
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nबसपा में उठापटक
nबसपा ने की दूसरी सूची में मनगवां विधानसभा क्षेत्र से रामायण साकेत, जो कुछ दिन पहले बसपा में शामिल हुए हैं, उन्हें प्रत्याशी बना दिया। रामायण को मनगवां से टिकट दिए जाने पर कुछ बसपा कार्यकर्ताओं व पदाधिकारियों ने विरोध जताया। हालांकि दूसरे दिन मामला शांत रहा।
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nअभी तो ट्रेलर है?
nरीवा में भाजपा कांग्रेस की पहली सूची में जिस तरह अंदरूनी रार सामने आई वह तो महज ट्रेलर है। जब दोनों पार्टियां अपनी-अपनी शेष चार सीटों में प्रत्याशियों की घोषणा करेंगी, तब विरोध का असली स्वर गूंज सकता है। किसमें ज्यादा होता है किसमें कम, आने वाला समय बताएगा। लेकिन कांग्रेस की पहली सूची में विंध्य से केवल एक ब्राह्मण प्रत्याशी की घोषणा से ब्राह्मण वर्ग कुपित है। हालांकि अभी लगभग दर्जन भर सीटों से प्रत्याशियों की घोषणा होनी है, जिसमें कांग्रेस साधने का प्रयास करेगी। इतना ही नहीं, सिद्धार्थ तिवारी यदि भाजपा में जाते हैं तो अमहिया कांग्रेस को साधने के लिए पार्टी अरुणा या कविता को आगे कर सकती है।