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रीवा। शहर के टीआरएस कॉलेज में हुए करोड़ो के घोटाले मामले में पूर्व प्राचार्य डॉ.रामलला शुक्ला व डॉ.एसयू खान सहित डॉ.सतेन्द्र शर्मा को जेल भेज दिया गया। सूत्रों की माने तो पूर्व प्राचार्य डॉ रामलला शुक्ला, डॉ.सतेंद्र शर्मा और एसयू खान ने मिलकर वर्ष 2018-19 और 2019-20 के दरमियान जनभागीदारी निधि के 4 करोड़ 30 लाख रुपये अपने-अपने स्वयं के खाते में स्थानांतरित कर लिए थे।
डॉ रामलला शुक्ला
जो कि पूरी तरह से अवैध है। जिसको लेकर ईओडब्यू में मामला तीनों के खिलाफ दर्ज हुआ था। इसी मामले में तीनों को शुक्रवार को जेल भेजा गया है। ईओडब्ल्यू ने चलान पेश किया जिसके बाद जेल भेजा गया। विंध्यवाणी न्यूज सबसे पहले आपको यह खबर दिखा रहा है। हालांकि पूंछतांछ के दौरान इन सभी ने बताया था कि उनके द्वारा खुद प्रश्न पत्रों की सेटिंग, मूल्यांकन और टेबुलेशन का काम किया गया है, जिसका मेहनताना उनके द्वारा अपने खाता में भेजा गया। चूंकि राशि करोड़ो में थी इसलिए बरीकी से जांच में तीनो पकड़े गए।
डॉ एसयू खान
डॉ सतेंद्र शर्मा
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शासकीय भूमि की प्रत्येक आबादी का ड्रोन सर्वे करें: कलेक्टर
रीवा। कलेक्ट्रेट के मोहन सभागार में आयोजित बैठक में ड्रोन से आबादी भूमि के सर्वे एवं मुख्यमंत्री भू स्वामित्व योजना के संबंध में की जा रही कार्यवाही की समीक्षा की गई। बैठक में रीवा संभाग के कमिश्नर अनिल सुचारी ने कहा कि सर्वे ऑफ इंडिया द्वारा निर्धारित कार्य योजना के अनुसार ड्रोन सर्वे कराएं। प्रतिदिन कम से कम पांच गांवों का सर्वे अनिवार्य रूप से कराएं। एसडीएम संबंधित अधिकारियों की बैठक लेकर सर्वे की तैयारियों की समीक्षा करें। पटवारियों एवं राजस्व निरीक्षकों को ड्रोन सर्वे के संबंध में सही प्रशिक्षण दें। पटवारी सर्वे के समय अनिवार्य रूप से उपस्थित रहें।
कमिश्नर ने कहा कि पटवारी निर्धारित आबादी भूमि का चिन्हांकन पटवारी नक्शे के अनुसार करें। उसमें प्रत्येक खसरे में बनाए गए घरों में चिन्ह अंकित करें जिससे ड्रोन सर्वे में पूरा विवरण दर्ज हो सके। सरकारी भूमि पर पूरी आबादी का सर्वे कराएं। सर्वे के बाद गरीब परिवारों को आवासीय भूमि का मालिकाना हक मिलेगा। इससे उन्हें कई तरह की योजनाओं का लाभ मिलना संभव हो सकेगा।
बैठक में कलेक्टर मनोज पुष्प ने कहा कि जिले के हर गांव की शासकीय भूमि में बसी हुई आबादी का ड्रोन सर्वे अनिवार्य रूप से कराएं। ड्रोन सर्वे के बाद प्राप्त नक्शे का पटवारी मौके पर जाकर सत्यापन करें। उसमें किसी तरह की त्रुटि होने पर तत्काल प्रतिवेदन दें जिससे नक्शे में सुधार किया जा सके। सभी एसडीएम और तहसीलदार पूरी जिम्मेदारी के साथ सर्वे कराएं। यह प्रधानमंत्री जी तथा मुख्यमंत्री जी की उच्च प्राथमिकता का कार्य है। जिले में शेष बचे गांव में 30 नवम्बर तक अनिवार्य रूप से ड्रोन सर्वे करा लें। समय-सीमा का पालन न करने पर दण्डात्मक कार्यवाही की जाएगी। बैठक में सर्वे ऑफ इंडिया के प्रतिनिधि आरडी शाह ने ड्रोन सर्वे, नक्शों के सत्यापन तथा आबादी घोषित करने के संबंध में विस्तार से जानकारी दी। उन्होंने कहा कि तहसीलदारों द्वारा जिस भूमि को आबादी घोषित करने के लिए प्रस्ताव कलेक्टर कार्यालय को भेजा गया है वहाँ भी ड्रोन सर्वे कराएं। सर्वे में किसी तरह की कमी रहने पर सर्वे ऑफ इण्डिया द्वारा केवल एक बार सुधार का मौका दिया जाएगा। इसलिए पूरी सावधानी के साथ निर्धारित प्रक्रिया का पालन करते हुए सर्वे का कार्य संपन्न करें। सर्वे के लिए जिले में 6 टीमें तैनात थीं। अब 6 और टीमें तैनात कर दी गई हैं। सर्वे शुरू होने से पहले पटवारी आबादी भूमि का ठीक से चिन्हांकन कर लें। इसके लिए पटवारी नक्शे को आधार बनाएं। पटवारी नक्शे को इनलार्ज कर उसे सर्वे ऑफ इंडिया के नक्शे से मैच करने का प्रयास न करें। इससे कई कमियाँ रह जाएंगी। दोनों नक्शों के पैमाने में बहुत अंतर है। बैठक में जिला पंचायत के मुख्य कार्यपालन अधिकारी स्वप्निल वानखेड़े, अपर कलेक्टर शैलेन्द्र सिंह, सभी अनुभागों के एसडीएम, तहसीलदार, राजस्व निरीक्षक तथा पटवारी उपस्थित रहे।
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टूर डायरी न देने वाले राजस्व अधिकारियों पर होगी कार्रवाई
रीवा। कलेक्ट्रेट के मोहन सभागार में आयोजित बैठक में रीवा संभाग के कमिश्नर अनिल सुचारी ने राजस्व अधिकारियों को निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री जनसेवा अभियान में 17 सितम्बर से अब तक निराकृत सभी राजस्व प्रकरण अनिवार्य रूप से दर्ज करें। इसे विभागीय पोर्टल के साथ-साथ जनसेवा अभियान के पोर्टल पर भी दर्ज कराएं। नामांतरण, बंटवारा तथा सीमांकन के भी सभी निराकृत प्रकरण अनिवार्य रूप से दर्ज करें। सभी राजस्व अधिकारी हर माह का भ्रमण कार्यक्रम और टूर डायरी अनिवार्य रूप से प्रस्तुत करें। अपर कलेक्टर एक साल में राजस्व अधिकारियों के टूर डायरी के संबंध में प्रतिवेदन दें। टूर डायरी प्रस्तुत न करने वाले राजस्व अधिकारियों पर कार्यवाही की जाएगी।
कमिश्नर ने कहा कि राजस्व अधिकारी क्षेत्र का भ्रमण करके कानून और व्यवस्था की निगरानी करें। साथ ही स्कूलों, आंगनवाड़ी केन्द्र, अस्पतालों तथा नलजल योजनाओं के कार्यों का निरीक्षण करें। एसडीएम हर माह इसकी समीक्षा कर प्रतिवेदन प्रस्तुत करें। अविवादित बंटवारा और फौती नामांतरण के प्रकरण तत्परता से निराकृत करें। कोरोना संकट के कारण स्कूलों में जाति प्रमाण पत्र बनाने के लिए शिविर नहीं लगे हैं। आगामी दस दिवसों में स्कूलों में शिविर लगाकर पात्र विद्यार्थियों के जाति प्रमाण पत्र जारी कराएं। जनसेवा अभियान में भी इसे दर्ज करें। शहरी क्षेत्र में राजस्व अधिकारी धारणाधिकार के प्रकरण तथा ग्रामीण क्षेत्र में आवासीय भूमि में पट्टे के प्रकरण प्राथमिकता से निराकृत करें। मुख्यमंत्री जी की महत्वाकांक्षी योजनाओं में सीएम राइज स्कूल शामिल हैं। इन स्कूलों का भी एसडीएम निरीक्षण कर यहाँ की व्यवस्थाएं बेहतर कराएं। ग्रामीण विकास विभाग के कार्यों, उचित मूल्य दुकानों से खाद्यान्न के वितरण तथा खनिज विभाग के कार्यों की भी सतत निगरानी करें।
बैठक में कलेक्टर मनोज पुष्प ने कहा कि राजस्व प्रकरणों के निराकरण के लिए विशेष प्रयास किए जा रहे हैं। सभी एसडीएम मुख्यमंत्री जनसेवा अभियान की समीक्षा करके सभी विभागों के आवेदन पत्रों का निराकरण एवं ऑनलाइन फीडिंग सुनिश्चित करें। राजस्व प्रकरणों का शत-प्रतिशत निराकरण ऑनलाइन दर्ज कराएं। सीएम हेल्पलाइन के लंबित प्रकरणों के निराकरण पर भी सभी अधिकारी विशेष ध्यान दें। बैठक में अपर कलेक्टर विकास स्वप्निल वानखेड़े, अपर कलेक्टर शैलेन्द्र सिंह, सभी एसडीएम, डिप्टी कलेक्टर संजीव पाण्डेय, एसएलआर गोविंद सोनी तथा अन्य राजस्व अधिकारी उपस्थित रहे।
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एक जिला-एक उत्पाद की कार्यशाला 4 नवम्बर को
रीवा। जिले में प्रदेश स्थापना दिवस एक नवम्बर से 7 नवम्बर तक मनाया जा रहा है। सप्ताह भर के इस कार्यक्रम में अलग-अलग दिन विभिन्न विभागों द्वारा कार्यक्रम आयोजित किए जा रहे हैं। इस क्रम में 4 नवम्बर को एक जिला-एक उत्पाद योजना की उत्पाद निर्यात कार्यशाला कृषि विज्ञान केन्द्र रीवा में आयोजित की जा रही है। कार्यशाला प्रात: 11 बजे आरंभ होगी। इस संबंध में कलेक्टर मनोज पुष्प ने बताया कि एक जिला एक उत्पाद योजना के तहत जिले में बांस उत्पादन, सुंदरजा आम के उत्पादन तथा अन्य खाद्य प्रसंस्करण के कार्यों को शामिल किया गया है। कृषि विज्ञान केन्द्र में आयोजित कार्यशाला के साथ खाद्य पदार्थों की प्रदर्शनी भी आयोजित की जाएगी। इस प्रदर्शनी में राइस मिल, दाल मिल, पोहा मिल, मसाला प्रसंस्करण के विभिन्न उत्पाद, आम से तैयार मैंगो कैंडी, मैंगो शेक, अचार आदि का प्रदर्शन किया जाएगा। प्रदर्शनी में दूध से बने उत्पादों, शहद, विभिन्न मसाले तथा बांस से बने बर्तन एवं सजावटी सामग्री भी प्रदर्शित की जाएगी। कार्यशाला तथा प्रदर्शनी में विभिन्न विभागों के साथ-साथ खाद्य प्रसंस्करण उद्योग से जुड़े उद्यमी शामिल होंगे। कलेक्टर ने वन विभाग तथा उद्यानिकी विभाग को कार्यशाला एवं प्रदर्शनी के लिए आवश्यक प्रबंध करने के निर्देश दिए हैं। कलेक्टर ने आमजनों से प्रदर्शनी से लाभ उठाने की अपील की है।
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