सीधी। स्टूडेंट्स एजुकेशन वेलफेयर एसोसिएशन की जिला इकाई सीधी की उपाध्यक्ष एवं संजय गांधी स्नातकोत्तर महाविद्यालय सीधी के परास्नातक छात्रा विनीता यादव ने सभी पतियों से अपील की है कि एक महिला की तुलना सभी महिलाओं से करना कहां का न्याय है यह उचित नहीं। बता दें कि अभी हाल ही में उत्तर प्रदेश की ज्योति मौर्या बनी एसडीएम अपने पति सफाई कर्मी आलोक मौर्या को छोडऩे की घटना को लेकर पूरे देश में चर्चा है और अन्य महिलाओं को पति द्वारा इलाहाबाद, कोटा आदि स्थानों से तैयारी कर रहीं पत्नियों को वापस बुलाने का सोशल मीडिया में बहुत तेजी से जिक्र हो रहा है।
nn
nn
nn
nn
इसी बात को लेकर विनीता ने कहा है कि यदि इसी प्रकार संदेश जाएगा तो समाज में गलत प्रभाव पड़ेगा और उन हमारी बहनों को जो पतियों के द्वारा पढ़ाया या तैयारी कराई जा रही है। उन पर गलत संदेश जा रहा है क्योंकि शारीरिक अवस्था के कारण समाज और कानून के अनुसार लगभग 18 से 22 वर्ष की उम्र में लड़कियों की विवाह कर दी जाती है जबकि नौकरी की तैयारी के लिए आज लगभग 22 से 35 साल तक का समय लग जाता है जो पतियों पर ही भार होता है। यदि इस प्रकार का संदेश समाज में जाएगा तो समस्त विवाहित बहनों को पढ़ाने के प्रति अरुचि हो जाएगी। जबकि महिलाओं को शिक्षित होना एवं उनका समाज में योगदान अत्यधिक महत्वपूर्ण है। सबकी परवरिश एवं सोच अलग-अलग होती है। एक की गलती सबको सजा अन्याय है।