बता दे कि उक्त व्यक्ति रामस्वरूप द्वारा सिर्फ नोकरी की मांग ही नहीं की जा रही है बल्कि उसके द्वारा कई नेताओ से भी सिफारिश लगवाई जा रही है, मामले को लेकर पूर्व मंत्री राजेन्द्र शुक्ला का पत्र भी सामने आया है , जिसमें उन्होंने भी निगमायुक्त से उक्त व्यक्ति को निगम में नोकरी देन की बात कही है। उन्होंने पत्र में लिखा है कि उक्त व्यक्ति नगर निगम में काम करता था, इनका हाथ ड्यूटी के दौरान टूट गया था, गरीब परिस्थियों एवं विकलांगता को दृष्टिगत रखते हुए इनको पुन: नोकरी में रखने का कष्ट करे। उक्त व्यक्ति द्वारा ही बताया गया कि यह पत्र पूर्व मंत्री राजेन्द्र शुक्ला द्वारा लिखा गया है।
बता दे कि नगर निगम में नियमित व मस्टर कर्मचारी कोई भी हो उसकी सेवा अवधि 62 वर्ष की होती है, नोकरी की मांग कर रहा आयोध्या प्रसाद की उम्र 57 वर्ष उसके द्वारा ही बताई जा रही है। अब अधिकारी हैरान है कि इसे किस प्रकार से नोकरी दी जाए और इसकी समस्या का निराकरण कैसे हो, परेशानी इस लिए भी है कि राजनैतिक सिफारिशे भी नोकरी के लिए आ रही है। हालांकि आयोध्या प्रसाद की माने तो उसे यह जानकारी दी गई है कि नोटशीट उसकी नोकरी के लिए बढ़ा दी गई है।
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