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नई दिल्ली.जैसा कि आप सभी जानते है इस समय भारत और चीन के रिश्ते एक बार फिर से बॉर्डर पर बिगड़ते जा रहे है। इसी बीच राहुल गांधी का एक बयान सामने आया है जिसकी खूब निंदा की जा रही है। तो आइए विस्तार से जानते है कि आखिर पूरा मामला क्या है। आपको बता दें कि अभी हालही में भारत और चीन के जवानों की बीच बॉर्डर एरिया में एक झड़प हुई थी। इसी झड़प के संदर्भ में राहुल गांधी का बयान सामने आया था, जिसमें उन्होंने कहा कि चीन एक बड़े युद्ध की तैयारी कर रहा है। जिसके लिए भारत को तैयार रहना होगा लेकिन केंद्र सरकार गहरी नींद मे सोई हुई है। इसके बाद राहुल गांधी ने यह भी कहा कि देश का मीडिया भी इस बारे में इतनी बाते कर नहीं रहा जितनी करनी चाहिए। इसके बाद राहुल गांधी ने कहा जिस तरह से चीन भारतीय जवानों को ‘पीट’ रहे है। इस बारे में भी मीडिया कोई सवाल नहीं कर रही।इसके जवाब में डॉ.एस जयशंकर ने संसद में कहा कि कौन कहता है कि हमे परवाह नहीं है। मैने हमेशा हर अंतर राष्ट्रीय मंचो पर कहा है हमारे चीन के संबंध सामान्य नहीं है। आपको डॉ.एस जयशंकर के बारे कुछ बाते पता होनी चाहिए कि डॉ.एस जयशंकर को जपनीस, रसियन, तमिल भाषा का ज्ञान है और भारत के इतिहास में चीन में कोई लॉगेस्ट सर्विंग एंबेसेडर रहा है तो वो डॉ एस जयशंकर हैं. इसके बाद इन्होंने पलटवार करते हुऐ कहा कि आप लोग सरकार की आलोचना करना चाहो, डिबेट करना चाहो वो अलग बात है लेकिन जवानों के लिए यह जो शब्द है ‘पिटाई’ यह इस्तेमाल मत करिए। ये बहुत आपत्ति जनक है क्योंकि हमारे जवान इतनी ज्यादा सर्दी में भी अरुणांचल प्रदेश में खड़े है। साथ ही साथ इन्होंने कहा कि हमने इतिहास में सबसे बड़ी LAC के पास जवानों की फौज खड़ी कर रखी है। साथ ही विपक्ष ने सत्ता पक्ष से सवाल किए कि इस समय इंडिया चीन के बीच काफी बफर जोन बन रहे है। बफर जोन वो होते है जहां न भारतीय न चीन के जवान पेट्रोलिंग कर सकते है। उस बारे में सरकार का क्या कहना है। लेकिन इन्हें कोई जवाब मिला नहीं और अंत में विपक्ष में राज्य सभा से वॉक आउट कर लिया। यह कहकर कि एक प्रॉपर डिबेट हो नहीं रहा इंडिया चीन बॉर्डर क्लेश को लेकर.